Dausa by-election : प्रदेश में 7 विधानसभा सीटों पर 13 नवंबर को मतदान होगा। इन 7 विधानसभा सीटों में दौसा विधानसभा सीट भी शामिल है, बता दें कि दौसा से कांग्रेस ने दीनदयाल बैरवा उर्फ डीसी बैरवा और बीजेपी ने जगमोहन मीणा को मैदान में उतारा है। वहीं यहां से चुनाव जीतना कांग्रेस नेता सचिन पायलट और बीजेपी नेता किरोड़ी लाल मीणा की प्रतिष्ठा का सवाल बन गया है। हालांकि यह तो वक्त ही बतायेगा कि दौसा में राजतिलक किसका होगा। आइए जानते है क्या है पूरा मामला?
सचिन पायलट का है टिकट : डीसी बैरवा
यह टिकट सचिन पायलट का है, उनके ही निर्देश आए हैं। यह बात डीसी बैरवा ने टिकट मिलने से एक दिन पहले कही थी, जब तो उनके टिकट का ऐलान भी नहीं हुआ था। ऐसे में यह बात साफ है कि इस टिकट में सिर्फ सचिन पायलट की चली है। बता दें कि मुरारी लाल मीणा के सांसद बनने के बाद खाली हुई इस सीट पर किसे टिकट मिले इसमें मुरारी लाल मीणा का किरदार भी अहम हो गया था। ऐसे में उनकी राय को भी मुख्य रूप से रखा गया।
दौसा उपचुनाव में भाजपा और कांग्रेस ने झोंकी ताकत
बता दें कि दौसा विधानसभा सीट पर कांग्रेस के मुरारी लाल मीणा दौसा से सांसद निर्वाचित हुए उसके बाद यह सीट खाली हुई थी। ऐसे में भाजपा और कांग्रेस ने दौसा उपचुनाव में पूरी ताकत झोंक दी है। साल 2013 से पहले यह सीट भाजपा का गढ़ मानी जाती है, मगर सचिन पायलट के करीबी मुरारी लाल मीणा ने इस सीट पर कब्जा जमाकर कांग्रेस का गढ़ बना दिया है, जो पिछले 10 सालों से भाजपा के लिए कड़ी चुनौती बनी हुई है।
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दौसा में SC-ST बाहुल्य
बता दें कि दौसा सीट पर सबसे अधिक मतदाता SC-ST वर्ग के हैं। SC मतदाता 60 से 65 हजार और SC मतदाता 50 से 55 हजार के बीच है…… 25 हजार OBC और सामान्य वर्ग के करीब 70 हजार मतदाना हैं, अगर भाजपा एससी-एसटी को तोड़ने कामयाब होती है, तो भाजपा विजय हो सकती है, दौसा सीट पर कांग्रेस सांसद मुरारी लाल मीणा फैक्टर काफी मजबूत माना जाता है तो वहीं भाजपा के पूर्वी राजस्थान के नेता भजनलाल सरकार में मंत्री किरोड़ी लाल मीणा का भी प्रभाव माना जाता है।
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