PESA Act : जयपुर। जनजातियों की रक्षा करने वाला विश्व के सबसे बड़े संगठन अखिल भारतीय वनवासी कल्याण आश्रम व राजस्थान का एक प्रतिनिधि मंडल ने राज्य के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा से भेंट की। इस मौके पर सीएम को जनजाति समाज के हितार्थ पेसा एक्ट धरातल पर लागू करने हेतु सुझाव दिए गए। इस दल में राजस्थान जनजाति मंत्री बाबूलाल खराड़ी जी, कल्याण आश्रम के अखिल भारतीय अधिकारी गिरीश कुबेर, अखिल भारतीय हितरक्षा प्रमुख संजय कुलकर्णी, राजस्थान वनवासी कल्याण आश्रम के अध्यक्ष डॉ. थावरचंद डामोर, प्रांत संगठन मंत्री जगदीश कुलमी, क्षेत्र के हितरक्षा प्रमुख विमल शाह शामिल रहे।
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इस उच्च स्तरीय दल द्वारा जनजातियों में 5वीं अनुसूची व संसद के विभिन्न कानूनो को धरातल पर उतरने के लिए निम्नलिखित विषयों पर विशेष चर्चा विचार की गई-
(1) राज्य मे वनाधिकार कानून एवं पेसा कानून, 1996 के सफल क्रियान्वयन के लिए मा. मुख्यमंत्री जी की अध्यक्षता में एक टास्क फोर्स का गठन किया जाए।
(2) पेसा कानून एक केंद्रीय कानून है, राज्य में इसके समुचित क्रियान्वयन के लिए महाराष्ट्र. छत्तीसगढ़ एवं मध्य प्रदेश शासन अनुभव के आधार पर राजस्थान में भी आवश्यक कानूनी संशोधन किए जाने पर विस्तृत चर्चा की गई।
(3) जनजातीय विकास कौशल व ग्राम विकास के विविध विषयों के योजना पाठ क्रियान्वयन के लिए राज्यपाल भवन में जनजातीय प्रकोष्ठ का गठन करने पर चर्चा की गई।
(4) केंद्रीय वन एवं पर्यावरण मंत्रालय के CAMPA Fund की ओर से 10 मार्च 2025 के पत्र अनुसार राजस्थान में प्रयोग तत्व पर मॉडल के तौर पर एक वन विज्ञान केंद्र प्रस्थापित करने जैसे विषयों पर भी चर्चा की गई।
उक्त सभी विषयों पर चर्चा सकारात्मक रही। माननीय मुख्यमंत्री जी का साधुवाद, जिन्होंने जनजाति विकास के लिए महत्वपूर्ण मंत्रालय यथा वन, पंचायती राज एवं जनजातिक क्षेत्रीय विकास विभाग के समन्वय से इस कार्य को जल्दी ही धरातल पर उतरने का आश्वासन भी दिया।
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