Purnima Ke Upay: शास्त्रों में पूर्णिमा तिथि पर भगवान विष्णु की पूजा करने का विशेष विधान बताया गया है। माना जाता है कि इस दिन मां लक्ष्मी सहित विष्णुजी की पूजा करने से भक्तों की समस्त इच्छाएं पूर्ण होती हैं। चैत्र माह की पूर्णिमा पर हनुमान जन्मोत्सव का पर्व भी आता है।
बजरंग बली का प्राकट्य दिवस है हनुमान जन्मोत्सव
चैत्र माह की पूर्णिमा पर ही मारुतिनंदन ने मां अंजना के गर्भ से जन्म लिया था। इसीलिए चैत्र पूर्णिमा को हनुमान जन्मोत्सव भी कहा जाता है। शास्त्रों में कुछ ऐसे प्रयोग बताए गए हैं जिन्हें पूर्णिमा पर किया जाए तो वे व्यक्ति के पूरे जीवन और भाग्य को बदल कर रख देते हैं। आप भी ऐसे ही कुछ उपाय करके अपनी हर समस्या से मुक्ति पा सकते हैं।
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चैत्र पूर्णिमा पर करें ये प्रयोग
- सुबह जल्दी स्नान आदि से निवृत्त होकर गणपति पूजन करें। इसके बाद राम दरबार और हनुमानजी का पूजन करें। उन्हें पुष्प, माला, धूप, दीपक, नैवेद्य, प्रसाद आदि अर्पित करें। इसके बाद वहीं पर बैठकर 108 बार हनुमानचालीसा या 7 बार सुंदरकांड का पाठ करें। इस उपाय से आपके जीवन में कोई भी बड़ी से बड़ी समस्या होगी तो वह आसानी से दूर हो जाएगी।
- चैत्र पूर्णिमा पर भगवान विष्णु के मंदिर के जाएं। वहां पर मां लक्ष्मी और श्रीहरि को पीले पुष्प, माला, पीले फल तथा पीली मिठाई अर्पित करें। इसके बाद विष्णु सहस्त्रनाम का 108 बार जप करें। ऐसा करने से भाग्य में आ रही सभी अड़चनें दूर हो जाती है तथा सौभाग्य जाग उठता है। इस उपाय से धन भी आने लगता है।
- यह उपाय भी दूसरे उपाय जैसा ही है लेकिन इसमें आपको भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की पूजा के साथ-साथ उनके महामंत्र ‘ॐ नमो भगवते वासुदेवाय’ का कम से कम दस हजार जप करना होगा। यदि सवा लाख जप कर सके तो सर्वोत्तम रहेगा। इस उपाय से मृत्यु को भी सहज ही टाला जा सकता है।
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