आरएएस परीक्षा और आरपीएससी का मुद्दा एक बार फिर गर्मा गया है। कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा और नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ इस मामले के कारण आमने-सामने आ गए हैं। एक दूसरे पर पलटवार शुरू हो चुके हैं। पहले राठौड़ ने चूरू को नाथी का बाड़ा न समझने की बात कही और डोटासरा के रिश्तेदारों के फर्जीवाड़े में आरएएस बनने के आरोप लगाया। जिसपर डोटासरा ने निशाना साधते हुए कहा कि डोटासरा ने राठौड़ पर पलटवार करते हुए कहा कि उन्हें यह ज्ञान नहीं है कि नाथी का बाड़ा एक बहुत पवित्र जगह थी। नेता प्रतिपक्ष बनकर राठौड़ में अहंकार आ गया है। यह बातें बुधवार को डोटासरा ने मीडिया से बातचीत के दौरान कही।
इसपर डोटासरा ने पलटवार में कहा कि राठौड़ कहते हैं कि डोटासरा के बच्चे और रिश्तेदार आरएएस कैसे बने। यह अपने अपने परिवार के संस्कार हैं। किसी ने बच्चों को आरएएस बनाया तो किसी ने बच्चों को गुंडा और ठेकेदार बनाया। यह सब संस्कारों का फर्क होता है। हम कहीं भी डरने वाले नहीं हैं, बीजेपी के गुंडों से जिस प्रकार हरकतें करवाई जाती हैं। उनपर कार्रवाई होगी। इनकी कलह आपस में सामने आ जाएगी। हम किसी से डरते नहीं हैं।
सियासी शादी है राठौड़ की
इस बयानबाजी के दौरान डोटासरा ने राजेंद्र राठौड़ को आठ महीने के लिए नेता प्रतिपक्ष बनकर बुढ़ापे में राजनीतिक शादी जैसी बात भी की। कुछ महीनों के लिए नेता प्रतिपक्ष बनने की बातें भी की। आगे कहते हुए डोटासरा बोले कि राजेंद्र राठौड़ के बारे में सभी को पता है कि उनका टारगेट क्या है। डोटासरा ने कहा कि सरकार ने महंगाई राहत का 19000 करोड़ का पैकेज भी जनता को दिया है। जिससे राशन का फ्री पैकेट, कृषि कनेक्शन लोगों को मिला है। हमें पूरी उम्मीद है, 2023 में हम फिर सरकार बनाएंगे।
एनसीआरटी किसी की जागीर नहीं
इतिहास के साथ छेड़छाड़ कर बीजेपी और केंद्र सरकार बहुत गलत कर रही है। संस्थाओं के साथ ऐसे किया जा रहा है कि वे इनके बाप की जागीर हो। एनसीआरटी जैसे इंस्टीट्यूट को ऐसे खत्म करने का काम किसी को नहीं करना चाहिए। डोटासरा ने बीजेपी पर चुनाव आयोग, एनसीआरटी को खत्म करने का आरोप लगाया।