Ram Mandir Pran Pratishtha Rules: अयोध्या में होने वाले रामलला प्राण प्रतिष्ठा समारोह को लेकर देशभर में उत्साह का माहौल हैं। चारों ओर राम नाम की गूंज है। करीब 500 साल बाद अयोध्या में नवनिर्मित राम मंदिर में रामलला विराजित हो रहे हैं। प्राण प्रतिष्ठा के दौरान सबसे पहले विधि विधान से निर्वाहन किया जाता है और मूर्ति पूजा से पहले उसमें प्राण प्रतिष्ठा की जाती है। इससे पहले मूर्ति की आंखों पर वस्त्र बांध कर रखा जाता है या पर्दा लगाया होता हैं। लेकिन क्या आप जानते है प्राण प्रतिष्ठा से पहले कपड़ा बांधने अथवा पर्दा लगा देने के पीछे क्या रहस्य है? यदि नहीं तो अब जान लीजिए –
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जानें क्यों बांधते हैं वस्त्र
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार प्राण प्रतिष्ठा के दौरान मूर्ति की आंखों पर वस्त्र बांधना आवश्यक होता हैं।
इस दौरान पंडितों द्वारा शक्तिशली मंत्रों का उच्चारण कर मूर्ति के कई अधिवास किये जाते है।
ऐसा करने से मूर्ति में एक तेज पुंज स्थापित होता है, जिससे मूर्ति की आंखों पर वस्त्र बांधा जाता है।
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शीशे को सामने खोलते है वस्त्र
मूर्ति में प्राण प्रतिष्ठा के समय आंखों पर वस्त्र बांधने की परंपरा पुरानी हैं। प्राण प्रतिष्ठा के बाद शीशे के सामने रखकर वस्त्र को खोला जाता है। वस्त्र खोलने के बाद मूर्ति की आंखों में अदृश्य तेज या ऊर्जा प्रकट होती हैं। यह काफी तेज गति से निकलती हैं। यदि ऐसे में कोई व्यक्ति सामने आ जाता हैं तो वह क्षतिग्रस्त हो सकता है। मूर्ति की आंखों से वस्त्र खोला जाता है, तो सामने शीशा लगाया जाता है। कभी-कभी शीशा भी चकनाचूर हो जाता है, जो शुभ माना जाता है।