Pulwama Attack: पुलवामा हमले को 5 साल गुज़र चुके हैं और उसकी काली यादें आज भी लोगों के दिलों दिमाग में बसी हुई है। आज पूरा देश पुलवामा के उन 44 शहीदों को नमन कर रहा है। ऐसे में कुछ हुनरमंद लोग देशभक्ति और शहीदों के प्रति अपने जज्बात अनोखे ढंग से भी पेश कर रहे हैं। राजस्थान के भीलवाड़ा शहर का रहने वाला एक युवक जिसने अपनी पीठ पर 44 पुलवामा शहीदों (Pulwama Attack) के नाम गुदवा लिए हैं। तो चलिए जानते हैं कि किस तरह इस बंदे ने देशभक्ति के लिए अपनी पीठ पर वो सभी नाम कैसे टैटू करवाए थे। ताकि लोगों को प्यार के उत्सव के दिन शहीदों को नमन करने की फुर्सत मिल सके।
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पीठ पर पुलवामा टैटू
भीलवाड़ा का एक युवा नारायण भदाला जो भीलवाड़ा से करीब 18 किलोमीटर दूर एक छोटे से गांव अगरपुरा में रहता है। पिछले 20 सालों से भीलवाड़ा में नशा मुक्ति अभियान चला रहा है। उसने शहीदों के प्रति सम्मान की भावना के चलते पुलवामा शहीदों की याद में अपनी पीठ पर 44 शहीदों के नाम गुदवा लिए हैं।
कैसे प्रेरणा मिली?
नारायण बताते हैं कि पुलवामा के दिन वो काफी दुखी हुए थे। वो काली यादें आजीवन उनके साथ रहेगी। उस घटना से नारायण पूरी तरह प्रभावित हो गए। और शरीर पर सभी शहीदों के नाम टैटू करवाने का फैसला किया। यह युवक पुलवामा हमले के एक शहीद श्री नारायण जी गुर्जर बिनौल राजसमंद के अंतिम संस्कार में शामिल भी हुआ था। उसके अगले दिन पीठ पर शहीदों के नाम गुदवा लिए। साथ में एक स्मारक, एक तिरंगा और टोपी भी टैटू करके गुदवा ली।
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यह हुए थे पुलवामा हमले में शहीद
हेमराज मीणा, कोटा , भागीरथ सिंह, राजाखेड़ा , जीतराम गुर्जर , भरतपुर , रोहिताश लांबा, जयपुर , नारायण गुर्जर, राजसमंद अजीत कुमार आजाद, प्रदीप सिंह यादव, कौशल कुमार रावत, महेश कुमार, प्रदीप कुमार, रमेश यादव, श्याम बाबू, अमित कुमार, विजय मौर्य, पंकज त्रिपाठी, अवधेश यादव, राम वकील (उत्तर प्रदेश), रतन कुमार ठाकुर, संजय कुमार सिन्हा (बिहार), विजय सोरेंग (झारखंड), वसंत कुमार वीवी (केरल), सुब्रमण्यम जी (तमिलनाडू), मनोज कुमार बेहरा, पीके साहू (ओडिशा), जीडी गुरु एच (कर्नाटक), संजय राजपुत (महाराष्ट्र), मनिंदर सिंह अत्री, कुलविंदर सिंह, जयमाल सिंह, सुखजिंदर सिंह (पंजाब), तिलक राज (हिमाचल प्रदेश), बबलू संत्रा (बंगाल), वीरेंद्र सिंह, मोहन लाल (उत्तराखंड), मानेसर बसुमत्री (असम)