सुप्रीम कोर्ट और सेबी के निर्णय के बाद अडानी इंटरप्राइजेज के शेयरों में आए उतार-चढ़ाव को कम करने के लिए एक्सचेंज ने बड़ा फैसला लिया है। अब अडानी ग्रुप की कई कंपनियों में से एक अडानी इंटरप्राइजेज को एडिशनल सर्विलांस मेजर एएस एम ( ASM)में डाला गया है।
क्या है एएसएम फ्रेमवर्क?
भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) ने शेयर मार्केट रिस्क में कमी और स्टॉक्स में भारी उतार-चढ़ाव पर निगरानी के लिए साल 2018 में एएसएम की व्यवस्था पेश की थी। यह निवेशकों के हितों की रक्षा और मार्केट में स्टेबिलिटी, ईमानदारी बढ़ाने के लिए लिया गया एक फैसला था। एएसएम स्टॉक एक्सचेंज की कीमतों में
अचानक उतार-चढ़ाव के लिए निवेशकों को वार्निंग देता है। हिंडन बर्ड रिपोर्ट के बाद उच्च अस्थिरता के कारण अदानी ग्रुप के स्टॉक्स के ढांचे के तहत रखा गया है। जिससे निवेशकों के हित प्रभावित ना हो। एएसएम सेबी और एक्सचेंज की पहल है। जो शेयर मार्केट में इन्वेस्टर्स के हितों की रक्षा करती है।
बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज और निफ्टी ने अडानी इंटरप्राइजेज को शॉट टर्म के लिए एसएमके फ्रेमवर्क के तहत डालने का फैसला ले लिया है। यह सरकुलेशन आज 25 मई 2023 गुरुवार से जारी होगा।
इस फैसले के पीछे का कारण इस ग्रुप के शेयरों में उतार-चढ़ाव को कम करना है। इसकी जानकारी मुंबई स्टॉक एक्सचेंज और एनएसई दोनों ने बुधवार को अलग-अलग सर्कुलर जारी करके दी । सर्कुलर में बताया गया अडानी इंटरप्राइजेज के शेयरों को शॉर्ट टर्म के लिए एसएम फ्रेमवर्क स्टेज 1लिस्ट में डाला गया है।
सर्कुलर के अनुसार मार्जिन की लागू दर 50% या मौजूदा मार्जिन से ज्यादा होगी। वही मार्जिन की अधिकतम दर 100 फ़ीसदी होगी। वैसे इससे पहले अडानी इंटरप्राइजेज के शेयरों को मार्च में शॉर्ट टर्म एसएम फ्रेमवर्क से बाहर कर दिया गया था।
अब इस फैसले की मुख्य वजह है शेयरों का उतार-चढ़ाव बताया जा रहा है। इसे ध्यान में रखते हुए शॉर्ट टर्म एएसएम का चुनाव किसी भी शेयरों का उतार-चढ़ाव निवेशकों का ज्यादा ध्यान देने के लिए वॉल्यूम या कैपिटलाइजेशन में भारी बदलाव, डिलीवरी की फ़ीसदी और कारोबार के समय छुए हुए प्राइस बैंड की संख्या के आधार पर लिया जाता है।
सुबह 11:40 पर बीएसई सूचकांक 61584.96 पर ट्रेड कर रहा है। वहीं निफ्टी टॉप 50 18233 पर अटका हुआ है।